रायपुर: छत्तीसगढ़ में किसानों को आत्मनिर्भर और आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के उद्देश्य से राज्य शासन द्वारा सौर सुजला योजना का सफलतापूर्वक संचालन किया जा रहा है। इस योजना के अंतर्गत किसानों को सोलर पम्प उपलब्ध कराए जा रहे हैं, जिससे अब वर्षा पर निर्भर रहने वाले खेतों में भी सिंचाई की सुविधा सुलभ हो गई है। परिणामस्वरूप किसान अब वर्ष में दोहरी फसल लेकर अपनी आय दोगुनी कर रहे हैं।
जिले के विकासखण्ड रामचन्द्रपुर के ग्राम झारा के किसान श्री मुनेश्वर प्रसाद यादव ने सौर सुजला योजना से लाभ लेकर अपनी खेती को नई दिशा दी है। उनके पास 5 एकड़ भूमि है, जिसमें पहले केवल 2 एकड़ ही सिंचित थी। क्रेडा विभाग की सहायता से सोलर पम्प लगवाने के बाद अब पूरी भूमि पर सिंचाई संभव हो गई है। श्री यादव अब धान के साथ-साथ साग-सब्जियों की खेती भी कर रहे हैं।
उन्होंने बताया कि पहले खरीफ सीजन में लगभग 60 हजार रुपये की आमदनी होती थी, जबकि सोलर पम्प लगने के बाद अब वार्षिक आय बढ़कर करीब 1 लाख रुपये तक पहुँच गई है।उन्होंने कहा कि पहले वर्षा आधारित खेती से जोखिम और नुकसान की आशंका बनी रहती थी, परंतु सौर सुजला योजना से सिंचाई की निर्बाध सुविधा मिलने के बाद खेती अब अधिक लाभदायक हो गई है। अब वे रबी और खरीफ दोनों सीजन में फसलें ले रहे हैं और साग-सब्जी उत्पादन से अतिरिक्त आमदनी अर्जित कर रहे हैं।
वर्तमान में सौर सुजला योजना फेस-9 के अंतर्गत बलरामपुर जिले को 300 सोलर पम्प लगाने का लक्ष्य प्राप्त हुआ है। इच्छुक किसान आधार कार्ड, भूमि का खसरा, रकबा, प्रमाणित नक्शा, जाति प्रमाण पत्र, पासबुक की छायाप्रति, स्थापना स्थल के फोटोग्राफ्स तथा आवेदन शुल्क (3 एचपी पम्प के लिए 3000 रुपए, 5 एचपी के लिए 4800 रुपए) के साथ अपने ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी, क्रेडा या उप संचालक कृषि कार्यालय में संपर्क कर योजना का लाभ ले सकते हैं।
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